जब पूजा वापिस आई
तो फिर से मेरी चूत को चाटने लगी और अपनी उँगली डालने लगी। मेरी आँखें उत्साह से
बंद थीं, तभी मुझे लगा कि मेरी चूत में पूजा की उँगलियों की जगह कुछ
और ठण्डा ठण्डा सा घुसने की कोशिश कर रहा है।
कुछ देर के बाद
मैं पूजा के ऊपर चढ़ गई और उसके होठों को चूसते हुए उसके मोम्मे मसलने लगी। मैंने
पूजा को ऊपर से लेकर नीचे तक चाटना और चूमना शुरू कर दिया, उसके मोम्मे चूस
चूस कर लाल कर दिये, उसके होठों को अपने होठों में दबा कर चूसने
लगी।
रोज की तरह उस
रात भी मैं और पूजा खाना खाकर बेडरूम में टेलिविज़न देख रही थीं। मैंने देखा कि
पूजा मेरे साथ कुछ ज्यादा ही चिपक रही थी। कभी मेरे गालों को सहलाती, कभी चूम लेती, मेरे मम्मों को
हल्के हाथों से सहला रही थी।
"पूजा आज क्या बात है? क्या आज किसी
लड़के के लण्ड की याद आ रही है?" मैंने उससे पूछा।
"नहीं ! कुछ नहीं, बस ऐसे ही तुझे प्यार
करने का दिल कर रहा है !!" पूजा मुझे चूमती हुई बोली।
मैंने टेलीविजन
और बत्ती बंद कर दी और पूजा को अपने साथ चिपका कर उसकी पीठ सहलाने लगी। मेरे साथ
लेटे लेटे मुझे चूमते चाटते हुए पूजा मेरी नाईटी ऊपर करने लगी। मैंने अपनी नाईटी
उतार कर फ़ेंक दी और अपने उन्नत मोम्मे दबा कर पूजा को कहा,"ले अब जहाँ पर प्यार करना है कर ले !!"
पूजा मेरे मोम्मे
चूसती हुई मेरी चूत को सहलाने लगी। कुछ देर के बाद पूजा अपनी एक उंगली मेरी चूत
में डालने लगी और फिर नीचे की ओर जाकर मेरी चूत चाटने लगी।
मैं भी धीरे धीरे
उत्तेजित हो रही थी, मैंने पूजा की नाईटी खींच कर उतारने की कोशिश
की तो पूजा बोली,"एक मिनट ! मैं जरा बाथरूम हो कर आती हूँ।"
"यह क्या डाल रही है पूजा?" मैंने पूछा।
"कुछ नहीं बस चुपचाप मज़ा लेती रह !" पूजा
ने अपनी नाईटी उतारते हुए जवाब दिया।
परंतु जब वो डंडा
सा कुछ और अंदर जाने लगा तो मैंने हाथ बढ़ा कर उसको पकड़ा और देखा कि पूजा ने अपनी
कमर पर एक डिल्डो बांधा हुआ था और उसे ही मेरी चूत में डाल रही थी।
मैंने उसे पूछा,"यह डिल्डो कहाँ से ले कर आई है?"
"मैंने तुझे बताया था ना कि मेरा एक सहकर्मी तीन
महीने के प्रशिक्षण के लिये जर्मनी गया था, उसी से मंगवाया है। तेरी
पसंद का है ! पूरा आठ इंच लंबा और रंग भी तेरी पसंद का है हल्का भूरा बिल्कुल असली
लण्ड जैसा !! और आज तू सोच ले कि तुझे असली लण्ड ही चोद रहा है और यह लण्ड ना तो
झड़ेगा और ना ही ढीला पड़ेगा और हमेशा खड़ा रहेगा ! सदाबहार !!" पूजा उसे
मेरी चूत के मुँह पर रख कर धक्का लगाते हुए बोली।
जैसे ही उसने
धक्का मारा, डिल्डो का सिरा मेरी चूत के अंदर घुस गया. कुछ देर रुक कर
पूजा ने थोड़ा और जोर लगाया तो मेरे मुँह से एक हल्की सी चीख निकली और मैंने उसे
कहा,"बस पूजा ! इसको बाहर निकाल ले ! बहुत दर्द हो रहा है।"
"जब कोई लड़का तेरी चूत में अपना लण्ड पेलता है
तो तुझे दर्द नहीं होता!!! आज मेरे लण्ड से तुझे दर्द हो रहा है!!!" कहते हुए
पूजा और जोर से धक्का मारा और पूरा डिल्डो मेरी चूत में डाल दिया।
जब मैंने उसे जोर
देकर बाहर निकालने की कोशिश की तो पूजा बोलने लगी,"आज तो मैं तुझे चोद कर ही
रहूंगी। अगर अभी प्यार से नहीं चोदने देगी तो रात को जब तू सो जायेगी तो तेरी गांड
में घुसेड़ दूँगी !!!"
"नहीं गांड नहीं!!! तू मेरी चूत चोद ले, पर आराम से धीरे
धीरे चोदना !" मेरे मुँह से निकला।
"हाँ ! अब तू मेरी प्यारी शालू की तरह बात कर
रही है ! अब तू देखना, मैं तुझे कैसे प्यार से चोदती हूँ!!!"
कहते हुए पूजा मेरे ऊपर लेट कर मेरे होंठों को चूसने लगी।
अपने दोनों हाथों
से मेरे मोम्मे दबाती हुए मुझे चूमने-चाटने लगी। मैं जानती थी कि आज हर हालत में
मेरी चूत की धुनाई होनी है इसलिए मैं भी अब चुदाई का आनन्द लेने लगी। मैंने अपनी
टांगों को पूरा खोल लिया और पूजा की पीठ पर अपनी बाहें लपेट कर उसको अपने साथ
चिपका लिया और उसको चूमने-चाटने लगी।
अब पूजा ने धीरे
धीरे अपना डिल्डो मेरी चूत के अंदर-बाहर करना शुरू कर दिया। कुछ ही धक्कों के बाद
पूजा ने डिल्डो बाहर निकाल लिया और फिर से मेरी चूत पर रगड़ कर मुझे छेड़ने लगी।
"आह्हह्ह ! पूजा प्लीज़, ऐसे मत कर !!!
अपना लण्ड बाहर मत निकाल !!! अंदर डाल कर पूरा चोद दे मुझे !" मैंने अपनी
लरज़ती हुई आवाज़ में कहा।
"चोदती हूँ ! पहले मेरा लण्ड तो चूस मेरी
जान!!!" पूजा मेरे चेहरे पर अपना डिल्डो मारते हुए बोली।
"डाल दे ! अपना लण्ड मेरे मुँह में डाल कर पहले
मेरा मुँह चोद दे !!!" मैं अपना मुँह खोलते हुए बोली।
फिर मैंने पूजा
का डिल्डो पकड़ कर चूसना शुरू कर दिया। मैं उसके डिल्डो को ऐसे ही चूस चाट रही थी
जैसे किसी लड़के के बड़े से लण्ड को चूस रही हूँ।
पूजा अपनी हथेली
से मेरी चूत को रगड़ने लगी। कुछ देर बाद पूजा मेरे नीचे की ओर आ गई और उसने मेरी
टाँगें खोल कर एक बार दोबारा अपना डिल्डो मेरी चूत में डाल दिया। पूजा मेरे ऊपर
लेट कर मेरे मोम्मों को जोर जोर से मसल मसल कर मुझे चोद रही थी।
"पूजा ! और जोर से चोद !! अपने लण्ड से मेरी चूत
को भर दे !!! और जोर जोर से धक्के मार !!!" मैं उन्माद में भरी हुई बोल रही
थी।
पूजा के जोरदार
धक्कों से मैं कुछ ही देर में झड़ गई और पूजा को अपने पूरे जोर से अपने साथ दबाने
लगी।
पूजा ने मुझे
घोड़ी की तरह होने को कहा। मैं बाँहों और घुटनों के बल घोड़ी बन गई तो पूजा ने
मेरी टाँगें थोड़ी सी खोल दीं और मेरी बाहर निकली हुई चूत के मुँह पर डिल्डो रगड़ने
लगी। फिर उसने अपना डिल्डो धीरे धीरे मेरी चूत में डाल दिया और मेरी कमर पकड़ कर
मुझे चोदने लगी। पूजा कभी मेरे मोम्मे दबाती, कभी मेरी गाण्ड सहलाती, कभी गाण्ड पर चपत
मारती हुई मुझे चोद रही थी। कभी जोर जोर से धक्के मारती तो कभी धीरे धीरे डिल्डो
मेरी चूत के अंदर बाहर करती। पूजा रुक-रुक कर मुझे चोदती रही और कुछ ही मिनटों में
मैं फिर से झड़ गई।
मैं जोर जोर से
सिसकारियाँ भर रही थी।
"मज़ा आया या और चोदूँ?" पूजा ने डिल्डो हिलाते हुए पूछा।
"नहीं, अब और ताकत नहीं है मेरे
अन्दर !!! प्लीज़ अब इसे बाहर निकाल ले !!!" मैंने कहा।
पूजा ने डिल्डो
बाहर निकाला तो मुझे ऐसा लगा जैसे जान में जान आ गई हो, मैं पेट के बल
बिस्तर पर गिर गई और जोर जोर से साँसे भरने लगी। जब मेरी साँसे संयत हुईं तो मैंने
देखा पूजा मेरे साथ चित्त लेटी हुई थी और उसके डिल्डो का मुँह छत की ओर था।
मैं डिल्डो पकड़
कर हिलाने लगी तो पूजा ने मुझे देखा और मुझे चूम लिया। मैंने भी हाथ बढ़ा कर उसको
अपने साथ खींच लिया और उसको चूमने लगी।
तभी पूजा एक बार
फिर मेरे ऊपर चढ़ गई और मेरी गर्दन के पीछे और मेरे कानों को चूमने चाटने लगी.
पूजा की जीभ मेरी पीठ से होते हुए मेरी गाण्ड को चाट रही थी। मुझे लगा कि मेरा
शरीर एक बार फिर से वासना से गर्म हो गया है। कुछ देर तक मुझे चूमने चाटने के बाद
पूजा ने अपना डिल्डो मेरी गाण्ड के छेद पर लगा कर दबाना शुरू कर दिया।
"पूजा, प्लीज़ गाण्ड में मत डाल
! बहुत दर्द होगा !!" मैंने पूजा को कहा।
"मैं बिल्कुल धीरे धीरे और रुक रुक कर डालूंगी
!! और जब तू कहेगी बाहर निकाल लूँगी !!!" पूजा ने डिल्डो को और दबाते हुए
कहा।
"ठीक है, पर प्लीज़ मेरी गाण्ड
धीरे धीरे मारना !!" मैंने अनुरोध किया।
पूजा ने धीरे
धीरे और रुक रुक कर दबाते हुए अपना डिल्डो मेरी गाण्ड में पूरा डाल दिया और अंदर
बाहर करने लगी।
"शालू तू ठीक है ना? दर्द तो नहीं हो
रहा? देख मैं कितने प्यार से और धीरे धीरे तेरी गाण्ड मार रही
हूँ !" पूजा कहने लगी।
मैं सिर्फ
हाँ-हूँ की आवाजें कर रही थी। पूजा ने अपने हाथ मेरे कंधों पर रखे हुए थे और मेरी
गाण्ड मार रही थी। कुछ देर के बाद उसने अपने हाथ मेरे दोनों ओर से नीचे किए और
मेरे मोम्मे दबाते हुए मेरी पीठ को चूमने चाटने लगी।
मेरी जोर जोर से
सिसकारियाँ निकल रहीं थीं।
"शालू, थोड़ी सी अपनी गाण्ड ऊपर
उठा, मैं तेरी चूत में उंगली डालना चाहती हूँ !!" पूजा मेरे
कान को चूमते हुए बोली।
मैंने अपनी गाण्ड
थोड़ी सी ऊपर की तो पूजा का डिल्डो पूरा जड़ तक मेरी गाण्ड में घुस गया और पूजा
मेरा एक मोम्मा छोड़ कर अपनी उंगली मेरी चूत में डालने लगी।
एक ओर से चूत में
उंगली और पीछे से गाण्ड में पूजा का डिल्डो ! मैं दोनों ओर से चुदाई का मज़ा लेते
हुए धीरे धीरे अपनी गाण्ड को आगे-पीछे करने लगी।
कुछ ही देर में
मेरी चूत ने पानी छोड़ दिया और मेरा पानी पूजा की हथेली को भिगोने लगा। जब मैं झड़
गई तो पूजा ने अपना हाथ मेरे नीचे से निकाल लिया और एक बार दोबारा मेरे मोम्मे को
दबाने लगी।
"पूजा अब तो तूने मेरी गाण्ड भी मार ली, अब तो अपना लण्ड
बाहर निकाल ले !" मैंने पूजा को कहा।
"हाँ बस अभी निकाल रही हूँ !" कहते हुए
पूजा ने अपनी गति बढ़ा दी और अब जोर जोर से डिल्डो मेरी गाण्ड के अंदर-बाहर करने
लगी।
दो-तीन मिनट के
बाद पूजा ने अपना डिल्डो बाहर निकाला और मेरे साथ ही बिस्तर पर निढाल हो कर गिर
गई।
"पूजा, तू क्यों निढाल हो गई, गाण्ड तो मेरी
चुदी है और पानी भी मेरी चूत से निकला है!!!" मैंने पूजा को चूमते हुए
कहा। "पूजा अब तो तूने मेरी गाण्ड भी
मार ली, अब तो अपना लण्ड बाहर निकाल ले !" मैंने पूजा को कहा।
"हाँ बस अभी निकाल रही हूँ !" कहते हुए
पूजा ने अपनी गति बढ़ा दी और अब जोर जोर से डिल्डो मेरी गाण्ड के अंदर-बाहर करने
लगी।
दो-तीन मिनट के
बाद पूजा ने अपना डिल्डो बाहर निकाला और मेरे साथ ही बिस्तर पर निढाल हो कर गिर
गई।
"पूजा, तू क्यों निढाल हो गई, गाण्ड तो मेरी
चुदी है और पानी भी मेरी चूत से निकला है!!!" मैंने पूजा को चूमते हुए कहा।
हम दोनों कुछ देर
तक ऐसे ही लेट कर सुस्ताते रहे फिर पूजा ने धीरे से पूछा,"शालू क्या मुझे चोदेगी?"
"हाँ चोदूँगी ! ला मुझे यह डिल्डो उतार कर दे
फिर देख कैसे मैं तेरी चूत और गांड का भुरता बनाती हूँ।" मैंने कहा।
"यह वाला तो सिर्फ तुझे चोदने के लिये है. मुझे
चोदना है तो मेरे बैग में से दूसरा निकाल ले !" पूजा बोली और उठ कर बाथरूम
में चली गई।
मैं उठी और उसके
बैग में देखा तो कोई आठ इंच लंबा और दो इंच मोटा काले रंग का एक डिल्डो उसमें पड़ा
था, मैंने उसे निकाला और पूजा के बाथरूम से निकलने का इंतज़ार
करने लगी।
फिर मैं बाथरूम
होकर आई और उस काले डिल्डो को अपनी कमर पर बांध कर पूजा के साथ लेट गई। मैंने पूजा
को चूमना-चाटना शुरू कर दिया।
पूजा धीरे धीरे
सिसकारियाँ भर रही थी, मैंने पूजा को कहा- आज मैं तेरे साथ वैसा ही
करूँगी जैसे कोई लड़का चोदने से पहले मुझे चूमता-चाटता है।
"ठीक है और मैं भी तेरा लण्ड ऐसे चूसूँगी जैसे
लड़के का लण्ड चूसती हूँ !" पूजा बोली।
"ले फिर पहले मेरा लण्ड चूस कर खड़ा कर !"
कहते हुए मैं उसके साथ लेट गई।
पूजा ने मेरे
डिल्डो के सिरे को चाटना शुरू कर दिया,
फिर उसे हाथ में पकड़ कर
ऊपर से नीचे तक चाटते हुए मेरी जांघों को चाटने लगी। अब पूजा डिल्डो को अपने मुँह
में लेकर अपने सिर को जोर जोर से ऊपर नीचे करती हुई चूस रही थी, अपने हाथों में
थूक लगा कर कभी मेरी जांघों पर मलती और कभी मेरे मोम्मों पर मलती हुई उन्हें मसल
रही थी।
मेरी जोर जोर से
सिसकारियाँ निकल रहीं थीं। थोड़ी देर के बाद पूजा मेरे ऊपर लेट गई और मेरे होठों
को काटती हुई चूसने लगी।
मैंने उसको उल्टा
लिटा कर उसकी पीठ को चाट चाट कर अपनी थूक से गीला कर दिया. उसकी गांड को चाट चाट
कर जोर जोर चपत मार मार कर लाल कर दिया। मैंने उसे सीधा लिटाया और उसे चूमते हुए
नीचे उसकी चूत पर पहुँच गई, उसकी जांघें खोल कर उसकी चूत के ऊपर चाटने लगी।
पूजा की चूत से
पानी निकल रहा था, वह सिसकारते हुए कहने लगी, "ओह्ह्ह शालू मेरी जान !!! चोद दे मुझे !!"
मैं अपने डिल्डो
को उसकी चूत के मुँह पर रगड़ने लगी और फिर उसे पूजा की चूत के मुँह पर लगा कर
मैंने धक्का मारा जिससे आधा डिल्डो पूजा की चूत में घुस गया।
"आह्हह्ह!!! ओह्ह्ह्ह!!! शालू तेरा लण्ड घुस गया
मेरी चूत में!!!" पूजा की जोरदार आह निकली।
मैंने धीरे धीरे
धक्के मारने शुरू कर दिये और पूरा डिल्डो पूजा की चूत में डाल दिया। एक बार पूरा
डिल्डो पूजा की चूत में डालने के बाद मैं कुछ सेकंड के लिये रुकी ताकि पूजा की
साँसे संयत हो जायें और फिर उसकी चूत में डिल्डो अंदर-बाहर करने लगी।
"पूजा अब बता, तुझे कैसे चोदूँ !! धीरे
धीरे या जोर जोर से !!" मैंने पूजा की टाँगें पकड़ कर चौड़ी कर लीं।
"मेरे ऊपर लेट कर चोद !!" पूजा बोली।
मैंने उसकी
टाँगें छोड़ दीं और पूजा के ऊपर लेट कर उसके मोम्मे अपने हाथों में दबा लिये और
उसके होठों को चूसते हुए उसे चोदने लगी।
कोई दस मिनट के
बाद पूजा ने अपनी दोनों टाँगें मेरी कमर पर लपेट लीं और मेरी गाण्ड को जोर जोर से
दबाते हुए झड़ गई। कुछ देर तक पूजा के ऊपर लेटे रहने के बाद मैं दोबारा उठी और
उसकी टाँगें खोल कर उसको जोर जोर से धक्के मार कर चोदने लगी।
थोड़ी देर में
पूजा फिर से झड़ गई,"अग्ग्ग्ग!!! आह्हह्ह!!! शालू मैं गई!!!"
मैंने उसकी
टाँगें अपने कंधों पर रखीं और अपने पूरे जोर से उसे धक्के मारने लगी। पूजा की चूत
से पानी बह कर बाहर निकल रहा था और उसकी गाण्ड के छेद को भी भिगो रहा था।
मैंने उस पानी को
अपनी उँगलियों पर लगाया और पूजा की गाण्ड के छेद पर लगाते हुए अपनी एक उंगली उसकी
गाण्ड में डालने लगी।
"ओह्ह्ह्ह ! शालू नहीं प्लीज़ मत कर !!"
पूजा जोर से कराही।
"जब तक लड़की की गाण्ड ना मारी जाये, चुदाई पूरी नहीं
होती !!" मैं उसकी गांड में उंगली अंदर-बाहर करते हुए बोली।
मैंने अपना
डिल्डो बाहर निकाला और उसकी गाण्ड के छेद पर लगा कर दबाने लगी।
जैसे ही डिल्डो
का सिरा अंदर गया पूजा चिल्लाई,"ओह्ह्ह्ह !! शालू प्लीज़ धीरे धीरे डाल
!!!"
"जब तूने मेरी गाण्ड मारी थी तो तुझे बहुत मज़ा
आया था अब मेरी बारी है तो प्लीज़ धीरे धीरे डाल? आज मैं तेरी गांड फाड़
दूँगी !!" मैंने जोर से एक धक्का मार कर डिल्डो पूजा की गांड में घुसेड़ते
हुए कहा।
मैंने पूजा की
गाण्ड के नीचे हाथ डाल कर उसकी गाण्ड और थोड़ी सी ऊपर की ओर उठा ली ताकि मुझे
आसानी हो जाए और दनादन उसकी गाण्ड मारने लगी।
पूजा की आहें भी
अब कम हो गईं थी। कोई पन्द्रह मिनट तक पूजा की गाण्ड मारने के बाद मैंने अपना
डिल्डो बाहर निकाल लिया और पूजा की चूत में डाल दिया और दोबारा उसकी चूत चोदने
लगी। पूजा मेरे मोम्मे दबाने लगी. जैसे ही पूजा के हाथों का दबाव मेरे मोम्मों पर
बढ़ता, मैं उसे चोदने की गति बढ़ा देती।
तभी पूजा ने अपनी
पूरी शक्ति से मेरे मोम्मे दबा दिये।
"ओहहह!!! आह्हह्ह!!! आह्हह्ह!!! पूजा मेरे मोम्मे छोड़!!!" कहते हुए मैं उसके हाथ हटाते हुए उसके ऊपर गिर गई और अब पूजा ने अपनी उँगलियाँ मेरी पीठ में गड़ा दीं और झड़ने लगी। जब हम दोनों की साँसे संयत हुईं तो हम दोनों साथ साथ चिपक कर सो गईं।
Agar koi girl mujhase sexy baate karana chahti hai to 7275457320 Watsapp kare
जवाब देंहटाएं