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सहेली के भाई से चूत चुदाई

Dost ke Bhai se Chudai : सभी लंड वाले मर्दों के मोटे लंड पर किस करते हुए और सभी खूबसूरत जवान चूत वाली रानियों की चूत को चाटते हुए सभी का मैं स्वागत करती हूँ। अपनी कहानी के माध्यम से आप सभी मित्रो तक रही हूँ। ये मेरी पहली स्टोरी है। इसे पढकर आप लोगो को मजा जरुर आएगा, ये गांरटी से कहूंगी। हेलो दोस्तो, मेरा नाम ऋतु है और मेरी उमर 20 साल है. मैं दिखने मे काफ़ी सुंदर हूँ और मेरा फिगर भी 32-28-32 का है. मैं आज आपके लिए पहली बार अपनी एक अच्छी और सच्ची कहानी ले कर आया हूँ जो की बहुत ही अच्छी है और आपको सबको बहुत मज़ा भी आएगा.


पर स्टोरी स्टार्ट करने से पहले मैं आपको अपने बारे मे ब्ताना चाहती हूँ. मेरा नाम तो आप जान ही चुके हो और मैं फरीदाबाद रहती हूँ और कॉलेज मे पड़ती हूँ. मुझे मेरी फ्रेंड्स के बाय्फ्रेंड के साथ उनके किससे सुन कर बहुत अछा लगता है और मन करता है कि मेरे साथ भी कुछ ऐसा ही हो. पर मुझे कभी भी वैसे लड़का नही मिलता जेसा की मैं चाहती हूँ और फिर ऐसे ही मैं निराश भी हो जाती हूँ.


तो चलिए अब मैं आपको कहानी पर ले कर चलती हूँ.


ये बात तब की है जब मैं कॉलेज मे थी. मुझे देख कर सारी लड़किया मुझसे जलती थी क्योकि मैं बहुत ही सुंदर थी और मेरा फिगर तो कमाल का था. मेरी कुछ फ्रेंड्स मुझसे बोला करती थी की यार तुझे देख कर तो अच्छे अच्छे लड़को का लंड खड़ा हो जाता होगा. मैं तब उनकी बात सुन कर हास कर टाल देती थी पर मेरा भी तब दिल करता था की मुझे भी कोई अच्छे से पायर करे और मेरी अच्छे से पायर से चुदाई भी करे.


पर मुझे ऐसा कोई लड़का नही मिल पता था जिससे मैं अपनी दिल की ख्वाइश को पूरा कर सकु. पर फिर भी मैं अपने सपने को पूरा करने के लिए लड़को को ढूंडती रहती थी. और फिर एक दिन मेरी फ्रेंड पूजा के घर मैं गयी वहाँ पर मुझे उसका भाई राजेश मिला जो की मुझे देख कर स्माइल कर र हा था.

पहले तो मैने इन सब पर कोई ध्यान नही दिया पर बाद मे मैने जब उसे ध्यान से देखा तो मेरे दिल मे भी ख्याल आया की ये है भी बहुत हॅंडसम तो क्यो ना यही मेरी चुदाई का हमसफ़र बन जाए. इसलिए अब मैने भी उसे स्माइल देना शुरू कर दिया और फिर उसके बाद मैं अब मोका देखने लग गयी.


क्योकि मुझे तो बस यही था की वो मुझे बहुत प्यार करे और मुझे चोद डाले. इसलिए अब मैं जब भी अपनी फ्रेंड पूजा के घर पर जाती थी तो मैं भी अब उसे देख कर स्माइल कर देती थी और फिर उसके बाद धीरे धीरे उसे बोल चाल भी शुरू हो गयी थी. मैं बस अब सपने लिया करती थी की वो मुझे कब चोदे और कब मैं उसके लंबे लंड को अपनी चूत मे लून.

मैं बहुत ही अच्छे से अपनी फ्रेंड के घर टाइम बिताती थी और वही पर सबके साथ खाना खाती थी और राजेश को इशारे से बात भी करती थी क्योकि मैं जो चाहती थी वो मुझे सिर्फ़ और सिर्फ़ राजेश से ही मिल सकता था.


अब एक दिन मैं ऐसे ही पूजा के घर पर गयी तो वहाँ पर राजेश ने दरवाजा खोला और मैं फिर अंदर आ गयी. अंदर आ कर मुझे कोई भी नज़र नही आया तो मैने उससे पूछा तो उसने बताया की सब शादी मे गये हुए है और वो कल तक आएँगे.


ये सुन कर मेरा दिल खुश हो गया और मैं सोच लिया की आज तो मैं बिना चुदवाए यहाँ से नही जौंगी. इसलिए अब मैने भी ये सुन कर जाने का नाटक करने लगी क्योकि मुझे पता था की वो मुझे रोकेगा और ठीक वैसे ही हुआ. उसने मुझे रोका और कहा की चाय पी कर चली जाना तो मैं भी रुक गयी और फिर चाय बना कर हम एक साथ बैठ कर चाय पीने लग गये.

मैं सोफे पर राजेश के सामने बैठी थी और मैं मोका देख रही थी की कब कुछ होये इसलिए मैने जान बूज कर चाय का कप थोड़ा टेडा किया जिससे चाय थोड़ी सी मेरी टॉप पर गिरर गयी और फिर मैं चिल्लाने लग गयी.


तब उसे भी ठीक वैसे ही लगा की मैं कोई नाटक नही कर रही हूँ. इसलिए अब मैं ज़ोर से चिल्लाने लग गयी और फिर वो कपड़े को गीला करके ले आया और मेरी टॉप को सॉफ करने लग गया. उसके ऐसे करने से बूब्स पर उसका हाथ टच हो रा था और उधर पॅंट मे उसका लंड भी खड़ा हो रखा था. तब मैने उससे कहा की ब्रा भी खराब हो गयी है तो वो बोला की पूजा की ब्रा और टॉप डाल लो तो मैने वो ले लिया और उसे बाहर जाने को कहा तो वो कहने लग गया की नही मैं यही रहूँगा और आँखे भी बंद कर लूँगा.


तब मैं उसके सामने ही चेंज करने लग गयी और जब मैने कपड़े उतारे तो उसने मुझे पीछे से आ कर पकड़ लिया जिससे मैं उसे मना करने लग गयी पर वो नही माना और मुझे बेड पर लिटा कर मुझे किस करने लग गया.


मैं उसे रोकती रही पर वो नही माना और फिर मेरे बूब्स पर आ कर मेरे बूब्स चूसने लग गया जिससे मुझे भी अब मज़ा आने लग गया और मेरे मूह से सिसकारिया निकालने लग गयी. उधर अब वो भी नंगा हो गया और जब मैने उसका लंड देखा तो मैं डर गयी क्योकि उसका लंड काफ़ी बड़ा और मोटा था इसलिए मैने उसे चोदने से माना कर दिया पर वो नही माना और फिर उसने मेरी टाँगे उपर उठा कर मेरी चूत मे क्रीम लगादि और फिर लंड को रख कर एक धक्का मारा जिससे मेरी छींखे निकल गयी पर वो नही रुका और मुझे चोदता ही चला गया.

और साथ ही साथ वो मेरे बूब्स भी चूस रा था और चोदे जा रा था. थोड़ी देर चुद्वाने के बाद अब मुझे भी मज़ा आने लग गया और फिर मेरी चूत ने पानी भी छोड़ दिया और फिर 10 मिनिट बाद उसने मेरी चूत मे अपना पानी निकल दिया और फिर मेरे उपर आ कर गिरर गया.


फिर जब थोड़ी देर बाद उठा तो मैने देखा की चूत की बांड बज गयी थी और चादर भी खून से भर गयी थी जिसको देख कर मैं डर गयी तो उसने मुझे बताया की पहली बार लड़की की चूत फटने पर खून निकलता है तो तब जा कर मुझे हॉंसला मिला. और फिर मैं बातरूम मे जा कर चूत को सॉफ किया और चादर भी धो डाली.

अब जब मैं बाहर आई तो राजेश ने मुझे एक बार और चुदाई करवाने को कहा तो मैं मान गयी और फिर एक बार और ये खेल खेला गया.


तो केसी लगी मेरी ये चुदाई की कहानी मुझे ज़रूर ब्ताना.

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